लखनऊ में गूंजी ‘हरिशंकरी’ की पुकार — पीपल, बरगद, पाकड़ के संरक्षण का ऐतिहासिक संकल्प
लोक भारती ने दिया प्रकृति बचाने का बिगुल, सैकड़ों संगठनों और जनप्रतिनिधियों की मौजूदगी
लखनऊ, 10 अगस्त 2025 |
लखनऊ की धरती आज पर्यावरण बचाव की ऐतिहासिक हुंकार से गूंज उठी। लोक भारती, जिला प्रशासन और दर्जनों सामाजिक संगठनों के संयुक्त प्रयास से ‘हरिशंकरी अभियान’ के तहत पीपल, बरगद और पाकड़ जैसे पवित्र व दुर्लभ वृक्षों के संरक्षण एवं रोपण पर एक महत्त्वपूर्ण बैठक बीकेटी स्थित फौजी होटल एंड रेस्टोरेंट में आयोजित हुई।
इस अवसर पर प्रदेशभर से पर्यावरण प्रेमी, जनप्रतिनिधि और स्वयंसेवी संगठनों के कार्यकर्ता जुटे। कार्यक्रम का शुभारंभ भारत माता की जय के गगनभेदी नारों और सामूहिक गायत्री मंत्र के उच्चारण से हुआ।
पीपल, बरगद, पाकड़ — सनातन संस्कृति की जीवन रेखा
लोक भारती के राष्ट्रीय संपर्क प्रमुख श्रीकृष्णा चौधरी ने बताया कि संगठन ने 1992 से ही पर्यावरण, जल संरक्षण और प्राकृतिक खेती (डॉ. सुभाष पालेकर मॉडल) को बढ़ावा देने की मुहिम शुरू की थी। उन्होंने कहा—
“जहां हरिशंकरी पौधे लगते हैं, वहां धरती का जलस्तर खुद-ब-खुद बढ़ता है। हमारा लक्ष्य है कि यह अभियान गांव-गांव तक पहुंचे।”
लुप्त होती परंपरा को फिर से जगाने का संकल्प
राष्ट्रीय सह संगठन मंत्री गोपाल उपाध्याय ने कहा—
“पहले गांव की चौपाल इन्हीं पेड़ों के नीचे सजती थी, लोग मिलते, रिश्ते बनते थे। अब यह संस्कृति लुप्त हो रही है और लोक भारती इसे वापस लाएगा।”
उन्होंने चेताया कि वन विभाग के अनुसार ये वृक्ष विलुप्ति की कगार पर हैं और अब “बचाने का नहीं, लड़ने का वक्त है।”
वृक्षारोपण के साथ संरक्षण पर जोर
राष्ट्रीय संगठन मंत्री बृजेंद्र पाल सिंह ने कहा—
“सरकार लाखों पौधे लगाती है, लेकिन बचते कितने हैं, यह सभी जानते हैं।”
उन्होंने सुझाव दिया कि हर वृक्षारोपण से पहले धार्मिक अनुष्ठान, मंत्रोच्चार और परिक्रमा हो, तथा हर ग्राम सभा में वृक्ष संरक्षण समिति का गठन किया जाए।
जनप्रतिनिधियों की सक्रिय भागीदारी
विधान परिषद सदस्य पवन सिंह चौहान ने कार्यकर्ताओं से वृक्षारोपण अभियान में बढ़-चढ़कर हिस्सा लेने की अपील की।
बैठक की अध्यक्षता कर रहे पूर्व प्रशासनिक अधिकारी विजय बहादुर सिंह ने कहा—
“हरिशंकर अभियान सिर्फ पेड़ लगाने का काम नहीं, यह आने वाली पीढ़ियों को सांस देने का काम है।”
संगठनों और समाज का बड़ा संगम
कार्यक्रम के यजमान देवी सिंह (गायत्री परिवार) रहे। इस मौके पर गायत्री परिवार, पतंजलि, राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ, व्यापार मंडल, बजरंग दल, विश्व हिंदू परिषद, नगर पंचायत, ग्राम प्रधानों समेत सैकड़ों कार्यकर्ता एवं पदाधिकारी मौजूद रहे।
प्रमुख उपस्थित जनों में — सुधीर सिंह, मनोज, इतेंद्र, श्याम बिहारी कठेरिया, अंशुमाली, अंकुर, हनुमान गुप्ता, अमरेंद्र, बृज किशोर, वरुण शुक्ला, रामू मिश्रा, रोहित, रामविलास, डॉ. लव कुश पटेल, ऋषि, राजकुमार, चंदू मौर्य, निर्मल, मिथिलेश, देवेंद्र, नरेंद्र सिंह (गायत्री परिवार), अतुल (किसान मोर्चा), मनोज अवस्थी, मनोज रावत, सभा अंगद कनौजिया (बजरंग दल), डॉ. सुधीर सिंह, वेद रतन सिंह (व्यापार मंडल महामंत्री), विजयपाल सिंह (ग्राम प्रधान), रोहित सिंह (विश्व हिंदू परिषद) शामिल रहे।
हर जिले, हर गांव में फैलेगी हरियाली
बैठक में संकल्प लिया गया कि इस वर्ष प्रदेश के प्रत्येक जनपद की हर ग्राम पंचायत और शहरी वार्ड में हरिशंकरी वृक्षारोपण होगा।
मुख्य उद्देश्य — जल संरक्षण, अधिकतम ऑक्सीजन, विशाल छांव, जीव-जंतुओं का आवास और समाज में भाईचारा बढ़ाना।
संपादक की टिप्पणी:
हरिशंकरी अभियान न सिर्फ एक पर्यावरणीय पहल है, बल्कि यह हमारी संस्कृति, परंपरा और आने वाली पीढ़ियों के लिए जीवनदायिनी परियोजना है।